Sulakshana Pandit Death: 9 साल की उम्र में गाया पहला गाना, संजीव कुमार के इनकार के बाद तन्हाई में बीता सुलक्षणा पंडित का जीवन

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Sulakshana Pandit Death: बॉलीवुड की पॉपुलर सिंगर और एक्ट्रेस सुलक्षणा पंडित का गुरुवार शाम, 7 नवंबर 2025 को निधन हो गया। वे 71 वर्ष की थीं और उनका निधन हार्ट अटैक के कारण हुआ। सुलक्षणा पिछले कुछ समय से स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रही थीं और उनका इलाज मुंबई के नानावटी अस्पताल में चल रहा था। हालांकि, अस्पताल पहुंचने से पहले ही उन्होंने आखिरी सांस ली।

परिवार ने जानकारी दी कि सुलक्षणा पंडित का अंतिम संस्कार शुक्रवार, 8 नवंबर को विले पारले के पवन हंस श्मशान घाट में दोपहर 1 बजे किया जाएगा।

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म्यूजिक और फिल्म इंडस्ट्री में योगदान- Sulakshana Pandit Death

सुलक्षणा पंडित का जन्म 12 जुलाई 1954 को एक संगीतकार परिवार में हुआ था। उनके चाचा पंडित जसराज जैसे महान शास्त्रीय गायक थे, और उनके भाई जतिन और ललित मशहूर म्यूजिक डायरेक्टर्स के रूप में पहचान बना चुके हैं। उनकी बहन विजयता पंडित भी अभिनेत्री और गायिका रही हैं।

सुलक्षणा ने महज 9 साल की उम्र में गाना शुरू किया था और बहुत जल्द ही अपनी गायन कला से पहचान बनाई। 1967 में, उन्होंने फिल्म ‘तकदीर’ में लता मंगेशकर के साथ “सात समुंदर पार से” गाना गाया, जो बेहद लोकप्रिय हुआ। इसके बाद उन्होंने कई हिट गाने किशोर कुमार, मोहम्मद रफी, येशुदास, और उदित नारायण जैसे दिग्गज गायकों के साथ गाए।

साल 1975 में ‘संकल्प’ फिल्म के गाने ‘तू ही सागर है तू ही किनारा’ के लिए उन्हें फिल्मफेयर अवॉर्ड भी मिला। इसके बाद उनका संगीत सफर और भी शानदार हो गया। 1980 में उनका एल्बम ‘जज्बात’ (HMV) रिलीज हुआ, जिसमें उन्होंने गज़लें गाईं।

संगीत का जुनून, विदेश में भी छाई सफलता

सुलक्षणा ने केवल भारत में ही नहीं, बल्कि विदेशों में भी अपनी गायकी का जलवा दिखाया। 1986 में उन्होंने लंदन के रॉयल अल्बर्ट हॉल में फेस्टिवल ऑफ इंडियन म्यूजिक में शानदार प्रस्तुति दी। उनकी आवाज़ आखिरी बार 1996 में ‘खामोशी: द म्यूजिकल’ के गाने ‘सागर किनारे भी दो दिल’ में सुनाई दी, जिसे उनके भाइयों ने कंपोज़ किया था।

अभिनय का सफर और बड़े कलाकारों के साथ काम

सुलक्षणा पंडित का अभिनय करियर 1970 और 80 के दशक में अपने चरम पर था। फिल्मी दुनिया में उनका सफर 1975 में फिल्म ‘उलझन’ से शुरू हुआ। इसके बाद उन्होंने कई नामी फिल्मों में काम किया, जिनमें ‘संकोच’, ‘खंजर’, ‘बजरंग बली’, ‘भोला भाला’, ‘बंधन कच्चे धागे’, और ‘हेरा फेरी’ जैसी फिल्में शामिल हैं। सुलक्षणा ने उस दौर के सभी बड़े सितारों जैसे राजेश खन्ना, विनोद खन्ना, शशि कपूर, संजीव कुमार, और शत्रुघ्न सिन्हा के साथ स्क्रीन शेयर की।

संजीव कुमार के साथ अधूरी प्रेम कहानी

सुलक्षणा की निजी ज़िंदगी में एक गहरी कहानी छिपी हुई थी, खासकर उनके प्रेम संबंध के बारे में जो कभी पूरे नहीं हो पाए। कहा जाता है कि वह अभिनेता संजीव कुमार से बहुत प्यार करती थीं। 1975 में, फिल्म ‘उलझन’ के दौरान उनका प्यार परवान चढ़ा और उन्होंने संजीव कुमार से शादी का प्रस्ताव रखा। हालांकि, संजीव कुमार ने इसे अस्वीकार कर दिया क्योंकि वह हेमा मालिनी से एकतरफा प्रेम करते थे।

संजीव कुमार का यह इनकार सुलक्षणा के लिए एक बड़ा झटका था। इसके बाद उन्होंने आजीवन अविवाहित रहने का फैसला लिया और अपना जीवन अकेलेपन में बिताया। संजीव कुमार की मौत के बाद, सुलक्षणा मानसिक रूप से बहुत प्रभावित हुईं और वह अपनी बहन विजयता पंडित के साथ रहने लगीं।

संजीव कुमार और सुलक्षणा पंडित की 40 साल पुरानी संयोग

एक संयोग के रूप में यह देखा जा सकता है कि संजीव कुमार का निधन 6 नवंबर 1985 को हुआ था और ठीक 40 साल बाद, 6 नवंबर 2025 को सुलक्षणा पंडित का निधन हुआ। यह एक दिलचस्प और भावनात्मक संयोग है जो सुलक्षणा के जीवन की कई अधूरी कहानियों और यादों को और भी गहरा कर देता है।

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