Asad engaged: गुरुवार को उमेश पाल मर्डर केस में वांटेड गैंगस्टर अतीक के बेटे असद का यूपी एसटीएफ (UPSTF) ने एनकाउंटर कर दिया. इसी के साथ इस एनकाउंटर में झांसी में असद के साथ शूटर गुलाम भी मारा गया है. उमेश पाल के मर्डर के बाद से ये दोनों फरार थे जिसके बाद अब इन दोनों को एनकाउंटर में मार गिराया है. वहीं इस बीच खबर है कि अतीक का निकाह होने वाला था.
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इस जगह तय हुआ था असद का रिश्ता
जानकारी के अनुसार, अतीक के बेटे असद का एनकाउंटर नहीं होता तो इस साल असद का निकाह मेरठ में उसकी बुआ यानी अतीक की बहन की बेटी से होना था लेकिन इस निकाह से पहले असद को पी एसटीएफ (UPSTF) ने एनकाउंटर में मार गिराया. असद के एनकाउंटर के बाद पुलिस को जांच में पता चला है कि मेरठ में रहने वाली अतीक की बहन की बेटी से उसके बेटे की शादी होनी थी. शादी की तैयारियां चल रही थीं, लेकिन उमेश पाल हत्याकांड की वजह से मामला गड़बड़ा गया और इस वजह से शादी का समय को आगे बढ़ा दिया गया था.
अतीक के बहनोई भी हो चुका है अरेस्ट
अतीक की बहन की शादी मेरठ में हुई है और नौचंदी थाना क्षेत्र के भवानी नगर में उसका घर है. अतीक के बहनोई अखलाक अहमद मेरठ के भावनपुर सरकारी अस्पताल में अखलाक डॉक्टर है. इसी के साथ असद को पनाह देने में पुलिस अतीक के बहनोई अखलाक को अरेस्ट कर चुकी है और अख़लाख को नौकरी से बर्खास्त करने की भी तैयारी चल रही है. वहीं उमेश पाल हत्याकांड की साजिश में शामिल होने का आरोप है.
पुलिस ने दी एनकाउंटर की जानकारी
पुलिस अधिकारियों ने इस एनकाउंटर की जानकारी देते हुए कहा कि उमेश पाल हत्याकांड में शामिल उमेश को STF लगातार ट्रेस कर रही थी और झांसी में इनकी लोकेशन मिली. झांसी में गुरुवार को एसटीएफ की एक टीम ने जब मोटरसाइकिल से भागने की कोशिश कर रहे असद और गुलाम को रोका, तो दोनों ने एसटीएफ टीम पर गोलियां चलाईं. उन्होंने बताया कि एसटीएफ (STF) की जवाबी कार्रवाई में असद और गुलाम मारे गए.खबर के मुताबिक, असद और गुलाम के पास से एक ब्रिटिश बुल डॉग रिवॉल्वर और एक वॉल्थर पिस्टल मिली है. साथ ही दोनों एक मोटरसाइकल पर सवार थे, उसे भी पुलिस ने बरामद कर लिया है.
जानिए क्या है उमेश पाल हत्याकांड
उमेश पाल हत्याकांड (Umesh Pal murder case) की शुरुआत साल 2005 में 25 जनवरी को हुई. राजू पाल जो उस समय बसपा के विधायक थे और उनको दिनदहाड़े प्रयागराज की सड़कों पर गोली मार दी गई. उमेश पाल इस केस में गवाह थे. और उमेश पाल की गवाही रोकने के लिए 28 फरवरी 2006 को उमेश पाल का अपहरण कर लिया गया. इसके एक साल बाद उमेश पाल ने प्रयागराज के धूमनगंज थाने में साल 2007 में केस दर्ज करवाया. वहीं जब उमेश पाल पर कोर्ट में इस मामले की गवई देकर लौटा तब 24 फरवरी को उमेश पाल कोर्ट गया था. कोर्ट की कार्रवाई खत्म होने के बाद उमेश पाल अपने भतीजे की क्रेटा कार से घर वापस आ रहे थे. कोर्ट से उनका पीछा कर रहे बदमाशों ने गाड़ी से उतरते ही घर के सामने गोली मारकर उमेश पाल की हत्या कर दी थी और इस हत्याकांड में असद भी शामिल था.
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