आतंकी संगठन TTP ने किया था पाकिस्तान के पेशावर में बम धमाका
सोमवार को पाकिस्तान (Pakistan) के पेशावर (Peshawar) के पुलिस लाइन स्थित मस्जिद में सोमवार को आत्मघाती बम धमाका हुआ है और इस धमाके में अभी तक 61 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई और 150 से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं. वहीं इस बीच खबर है कि तहरीक ए तालिबान पाकिस्तान (TTP) के फिदायीन ने इस धमाके को अंजाम दिया है और उन्होंने ही इस धमाके की जिम्मेदारी ली है. इसी के साथ इस आतंकी संगठन ने ये भी जानकारी दी है कि अपने कमांडर उमर खालिद खुरासानी (Commander Umar Khalid Khorasani) की हत्या का बदला लेने के लिए इसे अंजाम दिया है.
कौन है उमर खालिद
मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई ने उमर खालिद की अफगानिस्तान (Afghanistan) के अंदर घुसकर हत्या कर दी थी. उमर खालिद पूर्व पत्रकार और कवि भी था. उसने पाकिस्तान के कराची शहर के कई मदरसों में पढ़ाई की थी. उमर खालिद का असली नाम अब्दुल वली मोहम्मद था और पाकिस्तानी सेना ने टीटीपी कमांडर की पिछले साल अगस्त में मार गिराया था.
TTP ने ली हमले की जिम्मेदारी
घटना के अंजाम देने वाले आतंकी संगठन तहरीक ए तालिबान पाकिस्तान (TTP) के फिदायीन ने इस घटना को अंजाम दिया है. टीटीपी ने एक बयान जारी करते हुए कहा है कि उसने अपने कमांडर उमर खालिद खुरासानी की हत्या का बदला लेने के लिए इसे अंजाम दिया है. इसी के साथ टीटीपी मृत कमांडर उमर खालिद के भाई मुकर्रम खुरासानी और उसके करीबी सरबकफ ने एक बयान जारी करते हुए आत्मघाती हमले की जिम्मेदारी ली है. उन्होंने कहा है कि उसके लोगों ने पेशावर में पुलिस को निशाना बनाने के लिए यह आत्मघाती बम हमला किया है. बयान जारी करते हुए उमर खालिद के भाई मुकर्रम खुरासानी ने कहा है कि यह मेरे भाई की गत अगस्त में अफगानिस्तान में की गई हत्या का बदला है.
जानिए कब हुआ था बम धमाका
मिली जानकारी के अनुसार, ये धमाका दोपहर करीब 1:40 बजे पाकिस्तान के पेशावर के पुलिस लाइन स्थित मस्जिद में हुआ. वहीं जब मस्जिद में ये धमाका हुआ तब उस मस्जिद में काफी संख्या में लोगों की भीड़ थी. बड़ी संख्या में लोग नमाज पढ़ने के लिए आए हुए थे. नमाज खत्म होने के बाद लोग मस्जिद से निकलने वाले थे और इस दौरान धमाका हो गया. वहीं इस धमाके के बाद यहाँ पर अफरा-तफरी मच गई. कुछ लोगों की यहाँ पर मौत हो गयी और कई लोग इस धमाके में घायल हो गए. वहीं कहा जा रहा है कि इस हमले में मरने वालों की संख्या सबसे ज्याद पुलिस वालों की है.