हम में से बहुत सारे लोग ज्योतिषी के पास अपना भविष्य दिखाना के लिए जाते है. बहुत सारे लोग अपने भविष्य के बारे में पूछने के लिए ज्योतिषी के पास जाते है. इसके साथ ही जब हमारे घर परिवार में कोई शुभ कार्य जैसे शादी ब्याह होता है तो हम ज्योतिषी से मुहर्त निकलवा कर ही वह शुभ काम करें. आज हम आपके लिए एक कहानी लेकर आए है जिससे हम जानेगें कि ज्योतिषी और गुरु में से कौन बड़ा होता है? क्या गुरु जी किस्मत का लिखा बदल सकता है?
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क्या गुरु किस्मत का लिखा बदल सकता है
एक बार की बात है कि एक नगरी में एक राजा था. वह गुरु जी को बहुत मनाता था. रोज गुरु जी का आशीर्वाद लेकर ही अपने सिहासन पर बैठता था. लेकिन सारे काम करने से पहले अपने ज्योतिषी से सलाह लेता था. यहाँ तक कि राजा युद्ध से जाना से पहले भी अपने ज्योतिषी से सलाह लेते थे. राजा अपने ज्योतिषी और गुरु जी दोनों को बहुत मानता था.
एक दिन ज्योतिषी ने राजा को गुरु जी से आशीर्वाद लेकर सिहासन पर बैठते देखा, और ज्योतिषी ने राजा से पुछा हे महाराज आप रोज आशीर्वाद गुरु जी से लेते हो और सलाह मुझसे लेते हो ऐसा क्यों ? राजा बोला ज्योतिषी आप क्या कहना चाहते हो..? ज्योतिषी कहता है कि आप गुरु जी को इतना क्यों मानते है… गुरु जी आपको कुछ बताता भी नहीं है… सब मैं बताता हूं फिर भी आप गुरु जी को इतना मानते हो क्यों ? यह सुनकर राजा भी सोच में पड़ गया कि ज्योतिषी सही बोल रहा है मैं गुरु जी को इतना क्यों मानता हूं? गुरु जी मुझे कुछ बताते भी नहीं है… न कोई सलाह देते है… तो मैं उन्हें इतना क्यों मनाता हूं…
इस बात का जवाब जानने के लिए राजा ने ऐलान किया कि कल एक सभा लगेगा जिसमे मैं कुछ सवाल पूछुंगा… अगले दिन सभा लगी.. राज आपने साथ एक छोटा लाल डिब्बा लेकर आए थे, राजा ने पूछ कि ज्योतिषी और गुरु जी में से जो भी सही बतायेंग कि इस डिब्बे में क्या है… वही बड़ा माना जाएगा… इसीलिए राजा ने पहला मौका ज्योतिषी को दिया कि आप पहले बताओ कि इस डिब्बे में क्या है? ज्योतिषी ने थोड़ी देर डिब्बे को देखा और बताया की इस डिब्बे में गोल हिरा है जो लाल रंग का है. इसपर राजा ने कुछ नहीं बोला और गुरु जी पुछा की गुरु जी अब आप बताएं इस डिब्बे में क्या है ?
गुरु जी ने हसते हुए बोला कि महाराज इसकी क्या जरूरत है… जैसा ज्योतिषी बोल रहे है वो सही है उन्हें सब पता है. राजा बोला की नही गुरु जी आप बताए की इस डिब्बे में क्या है… राजा के बहुत कहने पर गुरु ने कहा की इस डिब्बे में छोटा सा सांप का बच्चा है. यह सुनकर ज्योतिषी बोला की राजा जी आप अब इस डिब्बे को खोले… राजा ने इस डिब्बे में अपने हाथ से लाल रंग का हिरा डाला था लेकिन राज आने वह डिब्बा खोलने से इंकार कर दिया था क्यों कि वह नहीं चाहते थे कि गुरु जी की बात का मान न रहे. लेकिन गुरु जी और ज्योतिषी दोनों चाहते थे कि डिब्बे को खोल कर देखा जाए… बहुत कहने पर राजा ने डिब्बे को खोल दिया और डिब्बे से सांप का बच्चा निकला वह देख कर राजा और ज्योतिषी दोनों चौंक गए… क्यों कि राजा ने अपने हाथो से डिब्बे में लाला रंग का हिरा डाला था. राजा ने पुछा गुरु जी यह कैसा हुआ इसमें तो मैंने हिरा डाला था. गुरु जी कहा कि हा महाराज इसमें हिरा ही था लेकिन अब सांप है.
राजा ने पुछा यह कैसे हुआ… गुरु जी कहा की ज्योतिषी जो चीज़ होती है उनको बता सकता है. आपके भविष्य को बता सकता है लेकिन एक गुरु उसे बदल सकता है. ज्योतिषी हमारी किस्मत बताता है लेकिन गुरु किस्मत को बदल सकता है. इसीलिए कभी भी गुरु और ज्योतिषी में से कौन बड़ा है यह नहीं पूछना.
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