World Music Day History in Hindi – संगीत यानि की म्यूजिक हर किसी को पसंद हैं कहा जाता है कि अच्छा संगीत सुनने से सुकून का अहसास होता है तो वहीं ये कहा जाता है कि संगीत सेहत के लिए भी फायदेमंद होता है. संगीत हर तरह के मूवमेंट के अनुसार बनाया है और लोगों द्वार इसे पसंद भी किया जाता है. 21 जून को पूरे विश्व में संगीत दिवस मनाया जाता है वहीं इस पोस्ट के जरिए हम आपको इस बताने जा रहे हैं कि विश्व संगीत दिवस (World Music Day 2023) क्यों मनाया जात्ता है और दुनिया का सबसे पहला गाना किसने गाया था.
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World Music Day History and Significance
संगीत के महत्वों को समझने के लिए 21 जून को पूरे विश्व में संगीत दिवस मनाया जाता है. विश्व संगीत दिवस मनाने की शुरुआत साल 1982 में फ्रांस में हुई थी और इसका श्रेय तत्कालीन सांस्कृतिक मंत्री जैक लैंग को दिया जाता है. फ्रांस के लोगों की संगीत के प्रति दीवानगी को देखते हुए उन्होंने इस दिवस की घोषणा की थी. इस दिन को फेटे डी ला म्यूजिक (Fete de la Musique) के नाम से भी जाना जाता है.
वहीं पहले संगीत दिवस पर फ्रांस के साथ 32 से ज्यादा देश शामिल हुए थे. इस दौरान कई कार्यक्रम आयोजित किए गए थे और पूरी रात जश्न मनाया गया था. अब तो भारत, इटली, ग्रीस, रूस, ऑस्ट्रेलिया, पेरू, ब्राजील, इक्वाडोर, मैक्सिको, कनाडा, अमेरिका, ब्रिटेन, जापान, चीन, मलेशिया समेत कई देश 21 जून को विश्व संगीत दिवस मनाते हैं.
क्या होता है संगीत दिवस पर?
World Music Day History – संगीत दिवस पर दुनियाभर के संगीत कलाकार विशेष कार्यक्रम प्रस्तुत करते हैं और इस दौरान गाना गाने या परफॉर्म करने के पैसे भी नहीं लेते. दुनियाभर में इस दिन संगीत कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है. हालांकि इस समय पूरी दुनिया में कोरोना का संकट छाया हुआ है, ऐसे में कलाकार सोशल मीडिया के जरिये विशेष प्रस्तुति दे सकते हैं.
हिंदी सिनेमा का पहला गाना
वहीं भारतीय सिनेमा में फिल्में बिना गाने के अधूरी हैं अगर फिल्म की कहानी अच्छी नहीं होती है तो फिल्म का गाना भी फिल्म को हिट बना सकता है. वहीं भारतीय सिनेमा का पहला प्लेबेक सॉन्ग 1935 (First Bollywood Song Details) में आई फिल्म धूप छांव का था. ये फिल्म बांग्ला फिल्म भाग्य चक्र का हिंदी रीमेक थी और नितिन बोस के निर्देशन में बनी इस फिल्म में बिश्वनाथ भादुड़ी, विक्रम कपूर, कृषचंद्र डे , सरदार अख्तर और पहाड़ी सान्याल ने रोल निभाया था.
इस फिल्म से पहले तक सेट पर भी कलाकार लाइव सॉन्ग रिकार्ड किये जाते थे और कलाकार डायलॉग की तरह गाते थे. नितिन बोस ने तब सबसे पहले प्लेबैक सॉन्ग (First Bollywood Song) के बारे में सोचा और पूरा प्लान बनाया फिर उन्होंने संगीतकार रायचंद बोरल और उनके भाई मुकुल बोस को गाना बनाने की ज़िम्मेदारी दी और इस गाने को 83 साल हो गए.