Who was Shrikant Jichkar – जहाँ आजकल एक तरफ अरविन्द केजरीवाल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की एजुकेशनल डिग्री को लेकर सवाल खड़ा कर रहे हैं वहीं, सियासी गलियारे में एक ऐसा भी नेता था, जिसकी डिग्री ने उसे दुनिया में पहचान दिलाई. ये थे कांग्रेस पार्टी के नेता श्रीकांत जिचकर (Shrikant Jichkar), जिन्होंने कुल 42 विश्वविद्यालयों से 20 डिग्रियां हासिल की थीं. श्रीकांत की डिग्रियों ने ही उन्हें और लोगों से अलग किया और पूरी दुनिया में मशहूर कर दिया.
श्रीकांत जिचकर का नाम लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में भी दर्ज है. श्रीकांत की इतनी सारी डिग्रियों की वजह से ही उन्हें भारत का ‘मोस्ट क्वालिफाइड पर्सन कहा जाता था. जिचकर का जन्म नागपुर में एक मारठा परिवार में हुआ था. 2 जून 2004 में जिचकर की कार का एक्सिडेंट हो गया था, जिसमें उनकी मृत्यु हो गई थी.
Who was Shrikant Jichkar
श्रीकांत जिचकर (Shrikant Jichkar) जब मात्र 25 साल के थे तब तक उनके पास पहले से ही 14 पोर्टफोलियो थे और उन्हें लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में लिस्ट भी किया जा चुका था. लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स के मुताबिक, देश के सबसे योग्य व्यक्ति होने का खिताब आज भी जिचकर के नाम ही है.
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आईएस के लिए छोड़ा आईपीएस का पद
साल 1973 और 1990 के बीच, श्रीकांत जिचकर विश्वविद्यालयों की 42 परीक्षाओं में शामिल हुए थे. यहां तक कि उन्होंने आईएएस (IAS) की परीक्षा में बैठने के लिए आईपीएस (IPS) बनने के तुरंत बाद इस्तीफा दे दिया था और उन्होंने IAS की परीक्षा भी पास कर ली था. वहीं IAS बनने के बाद उन्होंने राष्ट्रीय चुनाव में भाग लेने के लिए चार महीने बाद ही अपने पद को छोड़ दिया था.
डिग्रियों की लम्बी लिस्ट
श्रीकांत जिचकर (Shrikant Jichkar) ने कई सब्जेक्ट्स में एमए किया था. उनके पास एमबीए, एमबीबीएस, पीएचडी, एमडी और डी लिट जैसी डिग्री भी थी. इतना ही नहीं, वह 1978 में आईपीएस और 1980 में आईएएस भी रह चुके थे. जिन डिग्रियों को कमाने में एक इंसान अपनी पूरी जिंदगी लगा देता है, वैसी 20 डिग्रियां थीं जिचकर के पास. देखिए डिग्रियों की पूरी लिस्ट.
- Medical Doctor (MBBS and MD)
- Law (LL.B.)
- Post-graduation in International Law (LL.M.)
- Masters in Business Administration (DBM and MBA)
- Journalism (B.Journ).
- M.A. (Public Administration
- M.A. (Sociology)
- M.A. (Economics)
- M.A. (Sanskrit)
- M.A. (History)
- M.A.(English Literature)
- M.A. (Philosophy)
- M.A. (Political Science)
- M.A. (Ancient Indian History,Culture and Archaeology)
- M.A (Psychology)
- D. Litt (Doctor of Literature) in Sanskrit – the highest of any degree in a University
- IPS (Indian Police Service) examination in 1978
- IAS (Indian Administrative Services) examination in 1980
संवैधानिक पदों का कार्यभार संभाला
1980 में, उन्हें महाराष्ट्र विधान सभा में सेवा के लिए चुना गया, जिसके बाद जिचकर देश के सबसे युवा सांसद बन गए. उन्होंने राज्य मंत्री, राज्यसभा सदस्य और महाराष्ट्र विधान परिषद के सदस्य के रूप में भी पद संभाला था.
निजी लाइब्रेरी में 52 हज़ार से ज्यादा किताबें
श्रीकांत की राजनीति में कितनी पकड़ थी इसका पता इसी बात से चल सकता है कि उन्हें 14 विभाग सौंपे गए थे। वे 1986 से 1992 तक महाराष्ट्र विधान परिषद और 1992 से 1998 तक राज्यसभा सांसद रहे। आपको बता दें कि वह महज 25 साल की उम्र में MLA बन गए थे।
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जिस इंसान के पास इतनी सारी डिग्रियां हों वह पढ़ता भी खूब होगा ये तो सभी मानते हैं। किताबों से उन्हें कितना लगाव था इसका पता इसी बात से चलता है कि उनकी अपनी एक निजी लाइब्रेरी थी, जिसमें 52 हजार से भी अधिक किताबें थीं।
कार एक्सीडेंट में हुई थी मौत
डॉ. जिचकर (Shrikant Jichkar) ने 1999 में राज्यसभा जाने का फैसला किया, जिसमें उन्हें हार झेलनी पड़ी थी. उनके पास हमेशा एक रचनात्मक भावना थी और उन्हें पेंटिंग करना, तस्वीरें लेना और नाटकों में अभिनय करना पसंद था. उन्होंने धर्म, स्वास्थ्य और शिक्षा पर भाषण देने के लिए देश भर में यात्राएं भी की.
उन्होंने उसी समय यूनेस्को में भारत का प्रतिनिधित्व भी किया था. लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था, 2 जून 2004 को बस ने उनकी कार में टक्कर मार दी. उस रात महज 49 साल की उम्र में डॉ. जिचकर की मृत्यु हो गई.