दुनिया को सन्मार्ग का पाठ पढ़ाने वाले सिखों के 9वें गुरु तेग बहादुर (Guru Tegh Bahadur) का आज 400 वां प्रकाश पर्व है। कोरोना काल में देश के तमाम हिस्सों में सिख भाई इसे धूम-धाम और पूरी सावधानी के साथ मना रहे हैं। गुरु तेग बहादुर ने मुस्लिम शासक औरंगजेब की हुकूमत के खिलाफ आवाज उठाई। औरंगजेब की तमाम कोशिशों और बंदिशों के बावजूद उन्होंने इस्लाम धर्म कुबूल नहीं किया और हंसते-हंसते अपना जीवन कुर्बान कर दिया।
एक साहसी योर्द्धा होने के साथ-साथ गुरु तेग बहादुर (Guru Tegh Bahadur) बहुत बड़े ज्ञानी थे। उन्हें अक्सर हिंद का चादर कहा जाता था। आज पूरा देश उनका 400 वां प्रकाश पर्व मना रहा है। पीएम नरेंद्र मोदी ने भी आज शनिवार को शीशगंज गुरुद्वारे में माथा टेका। आइए जानते हैं गुरु तेग बहादुर के 10 अनमोल विचार, जो आज भी दुनिया को प्रेरणा देते है….
1. किसी के द्वारा प्रगाढ़ता से प्रेम किया जाना आपको शक्ति देता है और किसी से प्रगाढ़ता से प्रेम करना आपको साहस देता है।
2. सफलता कभी अंतिम नहीं होती, विफलता कभी घातक नहीं होती, इनमें जो मायने रखता है वो है साहस।
3. आध्यात्मिक मार्ग पर दो सबसे कठिन परीक्षण हैं..
- सही समय की प्रतीक्षा करने का धैर्य और
- जो सामने आए उससे निराश न होने का साहस
4. हार और जीत यह आपके सोच पर निर्भर है, मान लो तो हार है और ठान लो तो जीत है।
5. नानक कहते हैं, जो अपने अहंकार को जीतता है और सभी चीजों के एकमात्र द्वार के रूप में भगवान को देखता है, उस व्यक्ति ने ‘जीवन मुक्ति’ को प्राप्त किया है, इसे असली सत्य के रूप में जानते हैं।
6. गलतियां हमेशा क्षमा की जा सकती है यदि आपके पास उन्हें स्वीकारने की साहस हो।
7. एक सज्जन व्यक्ति वह है जो अनजाने में किसी की भावनाओं को ठेस न पहुंचाए।
8. दिलेरी डर की गैरमौजूदगी नहीं, बल्कि यह फैसला है कि डर से भी जरुरी कुछ है।
9. प्यार पर एक और बार और हमेशा एक और बार यकीन करने का साहस रखिए।
10. इस भौतिक संसार की वास्तविक प्रकृति का सही अहसास, इसके विनाशकारी, क्षणिक और भ्रमपूर्ण पहलुओं को पीड़ित व्यक्ति पर सबसे अच्छा लगता है।