सड़कें बहुत लम्बी, चौड़ी और शानदार हो सकती है इसका सबूत भारत के कुछ एक्सप्रेसवे है. भारतीय सड़क नेटवर्क में एक्सप्रेसवे उच्चतम श्रेणी की सड़कों में से हैं. भारत के प्रमुख शहरों और बंदरगाहों के बीच ये चार से छह लेन वाले एक्सप्रेसवे तेज़ परिवहन नेटवर्क बनाते हैं. भारत में दिल्ली, मुंबई, कोलकाता और चेन्नई को जोड़ने वाला एक राजमार्ग नेटवर्क स्वर्णिम चतुर्भुज है, जिसकी शुरुआत अटल बिहारी वाजपेयी ने की थी. मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे जो भारत में प्रसिद्ध एक्सप्रेसवे में से एक है. भारत के प्रमुख शहरों में कई राजमार्ग और एलिवेटेड एक्सप्रेसवे हैं, उनमें से कुछ हैं बैंगलोर-चेन्नई एक्सप्रेसवे, नेशनल एक्सप्रेसवे, गंगा एक्सप्रेसवे और यमुना एक्सप्रेसवे.
दोस्तों, आईए आज हम आपको भारत में टॉप एक्सप्रेसवे के बारे में बताएंगे.
और पढ़ें : Top Richest Cricketers : ये हैं दुनिया के सबसे अमीर क्रिकेटर
भारत में टॉप एक्सप्रेसवे – Top Expressways in India
पूर्वांचल एक्सप्रेसवे
भारत का सबसे लंबा एक्सप्रेसवे पूर्वांचल एक्सप्रेसवे है. पूर्वांचल एक्सप्रेसवे उत्तर प्रदेश में 340.8 किमी लम्बा एक्सप्रेसवे है. इस एक्सप्रेसवे में 6-लेन को बढ़ा कर 8-लेन कर दिया गया है. इस एक्सप्रेसवे पर विमान की आपातकालीन लैंडिंग के लिए इसमें 3.2 किमी लंबी हवाई पट्टी है. 10 अक्टूबर 2018 को इसका निर्माण शुरू हुआ और 16 नवंबर 2021 को पीएम मोदी ने इसका उद्घाटन किया था. इसकी अनुमानित लगत ₹22,500 करोड़ है. यह उत्तर प्रदेश के 9 जिलों से होकर गुजरती है और लखनऊ जिले को गाज़ीपुर जिले से जोड़ती है.
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे
भारत का सबसे चौड़ा एक्सप्रेसवे दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे है. यह एक्सप्रेसवे 82 किमी लंबा है जो दिल्ली को डासना और गाजियाबाद के माध्यम से मेरठ से जोड़ता है. इस एक्सप्रेसवे की कुल अनुमानित लागत ₹8,346 करोड़ है. इस एक्सप्रेसवे ने दिल्ली से मेरठ तक यात्रा के समय को घटाकर केवल 45 मिनट कर दी है, पहले यह 2.5 घंटे थी. दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर 10 फ्लाईओवर, 95 अंडरपास और 15 सबवे हैं. इसकी 82 किमी लंबाई में केवल 60 किमी हिस्सा एक्सप्रेसवे और 22 किमी हिस्सा राष्ट्रीय राजमार्ग है.
दिल्ली-नोएडा डायरेक्ट फ्लाईवे
भारत का पहला 8-लेन चौड़ा हाई-स्पीड एक्सप्रेसवे दिल्ली-नोएडा डायरेक्ट फ्लाईवे है. इस एक्सप्रेसवे से महारानी बाग और निज़ामुद्दीन को नोएडा और मयूर विहार से जुड़ते है. 2001 में, इस एक्सप्रेसवे को तत्कालीन यूपी सीएम राजनाथ सिंह ने जनता के लिए खोल दिया था.यह नेशनल स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध होने वाली पहली भारतीय टोल कंपनी है.
मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे
भारत में सबसे महत्वपूर्ण एक्सप्रेसवे में से एक मुंबई – पुणे एक्सप्रेसवे है. 94.5 किमी लंबा यह एक्सप्रेसवे मुंबई को पुणे शहर से जोड़ता है. 2002 में यह एक्सप्रेसवे पूरी तरह से चालू हो गया. इसकी अनुमानित लागत 200 मिलियन डॉलर है. 5.7 किमी की कुल लंबाई वाली छह सुरंगें मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे का हिस्सा हैं. इस एक्सप्रेसवे से रोजाना 50,000 से ज्यादा वाहन गुजरते हैं. इसे एक दिन में लगभग 100,000 वाहनों को संभालने के लिए डिज़ाइन किया गया है. यह भारत के सबसे व्यस्त एक्सप्रेसवे में से एक है.
यमुना एक्सप्रेसवे
दिल्ली और आगरा के बीच यात्रा के लिए यमुना एक्सप्रेसवे का निर्माण किया गया था. इस एक्सप्रेसवे की लंबाई लगभग 165 किमी है और यह 9 अगस्त 2012 को तत्कालीन यूपी सीएम अखिलेश यादव द्वारा उद्घाटन के बाद चालू हो गया था. इसकी अनुमानित लागत ₹12,839 करोड़ है. 21 मई 2015 को भारतीय वायुसेना ने यमुना एक्सप्रेसवे पर भारत में पहली बार, डसॉल्ट मिराज 2000 को उतारा था. इसमें 35 अंडरपास और लगभग 42 छोटे पुल हैं.
समृद्धि महामार्ग
भारत में सबसे महंगे एक्सप्रेसवे में से एक समृद्धि महामार्ग है, यह मुंबई को नागपुर से जोड़ता है. इसलिए इसे मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे भी कह सकते हैं. इसकी अनुमानित लागत ₹55,000 करोड़ है. 701 किमी लंबा इस एक्सप्रेसवे के निर्माण के लिए 13 अलग-अलग ठेकेदारों को पुरस्कार दिया गया था.
दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे
भारत का सबसे महंगा एक्सप्रेसवे दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे होगा. इस एक्सप्रेसवे की अनुमानित लागत ₹100,000 करोड़ है, जो भारत में सबसे अधिक है. यह एक्सप्रेसवे दिल्ली से मुंबई तक यह हरियाणा, राजस्थान, मध्य प्रदेश और गुजरात से होकर गुजरती है. इस एक्सप्रेसवे का 1,350 किमी में से 426 किमी हिस्सा गुजरात में ही है. यह भारत का पहला एक्सप्रेसवे होगा जिसमें 2.5 किमी की वन्यजीव क्रॉसिंग होगी.
बैंगलोर-चेन्नई एक्सप्रेसवे
बैंगलोर-चेन्नई एक्सप्रेसवे दक्षिण भारत का पहला एक्सप्रेसवे है. यह 4-लेन एक्सप्रेसवे 258 किमी लंबा है और 8-लेन तक विस्तार योग्य है. यह बेंगलुरु की राजधानी को तमिलनाडु की राजधानी से जोड़ेगा. इस एक्सप्रेसवे की अनुमानित लागत ₹18,000 करोड़ है. इस एक्सप्रेसवे के निर्माण का जिम्मा NHAI संभाल रहा है.
दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे
दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे को दिल्ली को सहारनपुर के रास्ते देहरादून से जोड़ने के लिए बनाया गया है. 210 किमी लंबा यह एक्सप्रेसवे 6-लेन का है. इस एक्सप्रेसवे से यात्रा का समय 6.5 घंटे से घटकर 2.5 घंटे हो गया. इस एक्सप्रेसवे को भारत में 12 किलोमीटर लम्बा वन्यजीव संरक्षण गलियारा वाला पहला राजमार्ग मिलेगा,जो एशिया का सबसे लंबा वन्यजीव गलियारा होगा.
अमृतसर-जामनगर एक्सप्रेसवे
भारत में 3 बड़ी तेल रिफाइनरियों आरआईएल जामनगर, एचपीसीएल बाड़मेर और एचएमईएल बठिंडा को जोड़ने वाला एक एक्सप्रेसवे अमृतसर-जामनगर एक्सप्रेसवे है. 1,257 किमी लंबा यह एक्सप्रेसवे 4 से 6 लेन का है. इस एक्सप्रेसवे का करीब 637 किलोमीटर के इस एक्सप्रेसवे का 50 फीसदी हिस्सा राजस्थान में है.
और पढ़ें : Top 5 Exams in India : ये हैं भारत की सबसे कठिन परीक्षाएं