क्या है दूधेश्वरनाथ मंदिर का इतिहास, जिसके ऊपर अब रखा जाएगा गाजियाबाद का नाम

कई समय से गाजियाबाद के नाम बदलने की चर्चा जोरो पर है लेकिन अब खबर है कि गाजियाबाद (Ghaziabad) जिले के नाम बदलने की प्रक्रिया की शुरु हो गई है. गाजियाबाद का नाम बदलकर हरनंदी नगर, गजप्रस्थ दूधेश्वरनाथ नगर रखने की बात कही जा रही है लेकिन अगर गाज़ियाबाद का नाम दूधेश्वरनाथ नगर होता है तो इसका संबंध प्रदेश के दूधेश्वरनाथ मंदिर से है.  वहीं इस पोस्ट के जरिए हम आपको दूधेश्वरनाथ मंदिर के इतिहास के बारे में बताने जा रहे हैं जिसके ऊपर गाजियाबाद का नया नाम रखा जा सकता है.

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जनिए दूधेश्वरनाथ मंदिर का इतिहास 

उत्तर प्रदेश का दूधेश्वरनाथ मंदिर गाजियाबाद में स्थित है यह मंदिर भी काफी प्रसिद्ध है. इस मंदिर का इतिहास रावण काल से जुड़ा है. पौराणिक कथाओं के अनुसार, हिंडन नदी के किनारे पुलस्त्य के पुत्र और रावण के पिता ऋषि विश्रवा ने घोर तपस्या की थी. वहीं इसके बाद रावण ने भी इस मंदिर पर तपस्या की थी साथ ही ये भी कहा जाता है कि इस मंदिर में अपनी तपस्या के वक्त रावण ने महादेश को प्रसन्न करने के लिए अपना शीश चढ़ाया था. वहीं, इस मंदिर को देश के प्रमुख आठ मठों में भी गिना जाता है.

इस स्थान को दुधेश्वर हिरण्यगर्भ महादेव मंदिर मठ के रूप में जानते हैं. माना जाता है कि यहां पर भगवान शिव खुद प्रकट हुए थे. आज यहां पर जमीन से तीन फीट नीचे शिवलिंग मौजूद है. वहीं मंदिर में एक अनोखा कुआं भी है और कहा जाता है कि इस कुएं का पानी कभी मीठा तो कभी दूध जैसा लगाता है. इस मंदिर को लेकर मान्यता है कि  बाबा भोलेनाथ के दर्शन करने मात्र से हर कष्ट दूर हो जाते हैं और सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है.

गाजियाबाद के लिए सुझाए गए ये तीन नाम 

वहीं अब गाजियाबाद (Ghaziabad) का नाम दूधेश्वरनाथ मंदिर के नाम पर दूधेश्वरनाथ नगर ही सकता है. नगर निगम ने गाजियाबाद का नाम बदलने का एक पास कर दिया है. अब इस पर अंतिम फैसला सीएम योगी को लेना है. गाजियाबाद की महापौर सुनीता दयाल ने बताया कि गाजियाबाद का नाम बदलने का प्रस्ताव पार्षदों द्वारा पूर्ण बहुमत से पारित हो गया है और अब इसे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पास भेजा जाएगा. नया नाम उनके निर्णय के अनुसार ही तय किया जाएगा. बता दें, गाजियाबाद के लिए तीन नाम हरनंदी नगर, गजप्रस्थ और दूधेश्वरनाथ नगर सुझाए गए थे.

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