भारतीय टीम शिखर धवन की कप्तानी में 3 मैचों की वनडे और 3 मैचों की टी20 सीरीज खेलने के लिए श्रीलंका पहुंच चुकी है। टीम में युवा खिलाड़ियों को जगह मिली है जो इस सीरीज में अपना जलवा बिखेरते नजर आएंगे। लेकिन श्रीलंका ने अभी तक इस सीरीज के लिए टीम का ऐलान नहीं किया है।
श्रीलंका क्रिकेट बोर्ड और उसके खिलाड़ियों के बीच तनातनी जारी है। सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट को लेकर बोर्ड और खिलाड़ियों के बीच विवाद जारी है। इसी बीच श्रीलंका क्रिकेट बोर्ड ने अपने खिलाड़ियों को सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट पर हस्ताक्षर करने के लिए मंगलवार से 36 घंटे का समय मिला है।
8 जुलाई तक साइन करना जरुरी
खबरों के मुताबिक इंग्लैंड से लौटने वाले खिलाड़ी 8 जुलाई तक सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट पर हस्ताक्षर नहीं करेंगे, तो 13 जुलाई से भारत के खिलाफ खेली जाने वाली सीमित ओवरों की सीरीज में उनका सेलेक्शन नहीं होगा। दरअसल, श्रीलंकाई खिलाड़ी और बोर्ड के बीच यह विवाद काफी पहले से ही चलता आ रहा है। इंग्लैंड दौरे पर जाने से पहले खिलाड़ियों ने अनुबंध पर हस्ताक्षर करने की तय समयसीमा को नहीं माना था। ऐसे में अब क्या होगा, इसपर सभी की नजरें टिकी हुई है।
अन्य देशों के खिलाड़ियों को मिलता है ज्यादा पैसा…
बताया जा रहा है कि श्रीलंका क्रिकेट बोर्ड की ओर से खिलाड़ियों को सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट में घोषित वेतन को लेकर बवाल मचा है। मई में श्रीलंकाई खिलाड़ियों ने कहा था कि उनके लिए जो वेतन प्रस्तावित किया गया है, अन्य देशों के खिलाड़ियों को उससे तीन गुणा अधिक वेतन मिलता है। तब श्रीलंका ने 4 श्रेणियों में 24 खिलाड़ियों के लिए अनुबंध की घोषणा की थी। जिसमें ‘ए’ श्रेणी में केवल 6 खिलाड़ी शामिल थे, जिनका वार्षिक वेतनमान 70,000 से एक लाख डॉलर के बीच था।
भारत के खिलाफ अपनी B टीम उतार सकती है श्रीलंका बोर्ड
बताते चले कि भारत और श्रीलंका के बीच 13 जुलाई से व्हाइट बॉल टूर्नामेंट की शुरुआत हो रही है। शिखर धवन की कप्तानी में युवा खिलाड़ियों की फौज श्रीलंका टीम से लड़ने वाली है। अगर श्रीलंका के इंटरनेशनल खिलाड़ी कॉन्ट्रैक्ट पर साइन करने को राजी हो जाते हैं तो दोनों टीमों के बीच मुकाबला टक्कर का होगा। और अगर ऐसा नहीं होता है तो श्रीलंका अपने बी टीम को भारत के खिलाफ मुकाबले में उतार सकता है। हालांकि, आधिकारिक तौर पर ऐसी कोई घोषणा नहीं हुई है।