देश में कोरोना की दूसरी लहर बड़ी मुश्किल से काबू में आई हैं। इस दौरान बड़ी संख्या में लोगों ने अपने चाहने वालों को खोया। कोरोना की सेकेंड वेव के चलते हालात इतने बिगड़ गए थे कि बेड से लेकर ऑक्सीजन, दवाईयों तक के लिए मारामारी हो गई थीं। कई लोगों ने कोरोना से अपनी जान गंवाई, तो कुछ ने तो स्वास्थ्य सेवाओं के अभाव में ही दम तोड़ दिया।
सेकेंड वेव के बाद अब तीसरी लहर के लिए भी एक्टपर्ट्स लगातार चेता रहे हैं। ऐसे में कोई भी लापरवाही भारी पड़ सकती है। तीसरी लहर की आंशकाओं को देखते हुए सरकार भी काफी सतर्क हैं और इससे निपटने की तैयारियों में जुटी हैं।
25 जुलाई से शुरू होगी कांवड़ यात्रा
लेकिन इस बीच यूपी की योगी सरकार ने एक ऐसा फैसला ले लिया, जिसकी कुछ लोग आलोचनाएं कर रहे हैं। दरअसल, यूपी की योगी सरकार ने कोरोना काल में ही कांवड़ यात्रा की इजाजत दे दी है। यूपी में 25 जुलाई से कांवड़ यात्रा शुरू होगी।
हालांकि इस कांवड़ यात्रा को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को कुछ निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि पड़ोसी राज्यों से संवाद कर कांवड़ यात्रा को पूरा कराया जाएं। साथ में सीएम योगी ने ये भी कहा कि इस यात्रा के दौरान कोरोना के नियमों का पूरी तरह से पालन कराया जाएं।
पूर्व IAS ने इस फैसले का किया विरोध
कोरोना काल में कांवड़ यात्रा की इजाजत देने के सरकार के फैसले का कुछ लोग विरोध कर रहे हैं, जिसमें पूर्व IAS सूर्य प्रताप सिंह भी शामिल हैं। उन्होंने ट्वीट कर सरकार के इस फैसले पर आपत्ति जताई। साथ ही मांग भी कि सरकार अपने इस फैसले को वापस लें।
पूर्व IAS सूर्य प्रताप सिंह ने इस पर ट्वीट कर लिखा- “UP में तीसरी लहर की हवा और वैक्सीन की कमी के बीच 25 जुलाई से कांवड़ यात्रा को मंजूरी मिल गई है। जब इस आपदा में चारधाम की यात्रा तक पर रोक लगाई गई है, तब कांवड़ यात्रा को मंजूरी देकर सरकार क्या संदेश देना चाहती है?” उन्होंने अपनी ट्वीट में आगे ये भी कहा- “खैर तार्किक सवाल नजरअन्दाज कर मुझे ‘हिंदू विरोधी’ कह दीजिए।”
सूर्य प्रताप सिंह ने इस मामले पर एक और ट्वीट किया। इसमें उन्होंने कहा- “मैं योगी आदित्यनाथ जी से हाथ जोड़ कर निवेदन करता हूं कि शिव भक्तों की जान के साथ खिलवाड़ मत करिए। न्यायालय के दिशानिर्देशों को समझिए, ये कांवड़ यात्रा निकालने का समय नहीं है। प्रदेश द्वारा देखे गए मौत के तांडव को अभी दो महीने भी नहीं गुजरे हैं। आपकी मनमानी जानें ले सकती है।”
उत्तराखंड में कांवड़ यात्रा पर प्रतिबंध
जहां एक तरफ यूपी में कांवड यात्रा को अनुमति दी गईं, तो वहीं दूसरी ओर उत्तराखंड में लगातार दूसरे साल इस पर प्रतिबंध लगा दिया। उत्तराखंड के DGP ने 8 राज्यों के अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने कहा कि यात्रा पर प्रतिबंध है, ऐसे में यहां जो भी आएगा, हो सकता है उसको 14 दिन के लिए क्वारंटीन कर दिया जाए। स्थानीय लोगों के लिए भी यात्रा प्रतिबंधित रहेगी।
यूपी में तेजी से घटे कोरोना केस
बात अगर यूपी में कोरोना के आंकड़ों की करें तो यहां पर वायरस की रफ्तार अब काफी धीमी पड़ गई है। यूपी में 24 घंटों में कोरोना के महज 93 केस ही सामने आए। वहीं प्रदेश में एक्टिव केस की संख्या घटकर 2 हजार के करीब आ गई। कोरोना केस घटने के साथ यूपी में वैक्सीनेशन भी काफी स्पीड से चल रहा है। यूपी में रोजाना लाखों वैक्सीन की लगाई जा रही हैं। प्रदेश में अब तक 3 करोड़ 25 लाख से भी ज्यादा वैक्सीन की डोज लगाई जा चुकी हैं।