कोरोना महामारी का संकट देश पर अभी भी बरकरार है। रोजाना लाखों लोग इस वायरस की चपेट में आ रहे हैं, जबकि सैकड़ों लोगों की मौत हो रही है। इस महामारी ने अब तक ना जाने कितने परिवारों को तबाह करके रख दिया है। लेकिन ऐसे वक्त में कुछ राजनेता ऐसी हरकतें कर देते हैं, जो लोगों का पारा चढ़ा देती है।
ऐसा ही कुछ कर्नाटक के बेंगलुरु में भी हुआ। दरअसल, श्मशान घाट के बाहर एक बीजेपी विधायक ने बैनर लगाया गया। वो लोग जो श्मशान घाट पर कोरोना संक्रमित मृतकों का अंतिम संस्कार करने के लिए आए थे, वो इस बैनर को देखकर गुस्सा गए। उन्होंने बीजेपी नेता के तस्वीर वाले इस बैनर पर चप्पलों का हार चढ़ा दिया।
बेंगलुरु का है मामला
दरअसल, बेंगलुरु के गिद्देनाल्ली श्मशान के बाहर येलाहंका से बीजेपी विधायक एस आर विश्वनाथ के समर्थकों ने एक पोस्टर लगाया दिया। पोस्टर में ये लिखा था कि अंतिम संस्कार में जो लोग शामिल होने आए है उनके लिए बीजेपी विधायक एस आर विश्वनाथ की ओर से भोजन और नाश्ते की व्यवस्था की गई है। पोस्टर में पीएम मोदी, कर्नाटक के सीएम बीएस येदियुरप्पा की भी फोटो थीं।
पोस्टर पर लिखा था ये…
श्मशान घाट पर इस तरह का पोस्टर देखकर अंतिम संस्कार करने आए परिजन भड़क उठे। उन्होंने पोस्टर पर चप्पल का हार चढञा दिया। जिसके बाद इसकी तस्वीर सोशल मीडिया पर खूब वायरल होने लगी। फोटो के वायरल होने के बाद बीजेपी विधायक और उनकी पार्टी की लोग जमकर आलोचना करने लगे। इसको लेकर विवादों में घिरने के बाद स्थानीय बीजेपी नेता और प्रशासनिक अधिकारी ने बैनर को हटवा दिया।
पोस्टर हटवाया, माफी भी मांगी
यही नहीं इसके बाद बीजेपी विधायक एस आर विश्वनाथ को इस हरकत के लिए वीडियो जारी कर माफी भी मांगनी पड़ी। विधायक ने कहा कि उनको बैनर लगने की कोई जानकारी नहीं थी। अब उन्होंने इस बैनर को हटवा लिया है। हालांकि इसके साथ ही विधायक विश्वनाथ ने यह भी कहा कि बाहरी इलाके में श्मशान होने की वजह से अधिकारियों को पानी समेत दूसरी सुविधायों को को उपलब्ध कराने को कहा गया था, लेकिन किसी ने गलती से बैनर को वहां लगा दिया, जिसकी जानकारी नहीं थीं।
विधायक ने इस तरह बैनर लगाना गलत भी बताया। वो बोले कि ऐसे पोस्टर लगाना सही नहीं। महामारी के वक्त में हमें लोगों की मदद करनी चाहिए, पब्लिसिटी बटोरने पर ध्यान नहीं देना चाहिए।
गौरतलब है कि कोरोना महामारी के चलते बेंगलुरु के हालात भी काफी खराब है। यहां श्मशान घाट पर शवों के अंतिम संस्कार के लिए कतारें लगी हुई हैं। जिसके चलते अधिकारियों ने एक श्मशान घाट के बाहर तो ‘हाउसफुल’ का हीसाइनबोर्ड लगा दिया। श्मशान में शवों का अंतिम संस्कार के लिए जगह नहीं मिल रही, जिसके चलते सरकार ने खेत और दूसरे जगहों पर भी दाह संस्कार करने का फैसला किया।