Ravindra Kapoor filmography: कपूर खानदान भारतीय सिनेमा का सबसे पुराना और सबसे लोकप्रिय परिवार माना जाता है। पृथ्वीराज कपूर (Prithviraj Kapoor) से शुरू हुई इस विरासत को राज कपूर, शम्मी कपूर, शशि कपूर, ऋषि कपूर, करीना कपूर और रणबीर कपूर जैसे बड़े सितारों ने आगे बढ़ाया। लेकिन इस चमकते-दमकते परिवार का एक सदस्य ऐसा भी था जो हमेशा गुमनामी में रहा। वो थे रवींद्र कपूर, जिन्हें कपूर खानदान का सबसे बदकिस्मत अभिनेता माना जाता है।
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शुरुआत में संघर्ष, हमेशा सपोर्टिंग रोल (Ravindra Kapoor filmography)
रविंद्र कपूर (Ravindra Kapoor Bioghraphy), जिन्हें “गुर्गी” के नाम से भी जाना जाता था, पृथ्वीराज कपूर के कजिन थे। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत हिंदी फिल्मों में छोटे-छोटे किरदारों से की। लेकिन उन्हें कभी भी लीड रोल निभाने का मौका नहीं मिला। रविंद्र ने हिंदी फिल्मों में कई यादगार साइड रोल किए, लेकिन वह शोहरत हासिल नहीं कर पाए जो उनके परिवार के दूसरे सदस्यों ने पाई।
रवींद्र कपूर: एक प्रतिभाशाली लेकिन गुमनाम अभिनेता
हिंदी सिनेमा में अपनी पहचान बनाने की कोशिश में रवींद्र कपूर ने ‘ठोकर’ और ‘पैसा’ जैसी कई फिल्मों में काम किया। लेकिन जब उन्हें हिंदी फिल्मों में ज्यादा सफलता नहीं मिली तो उन्होंने पंजाबी सिनेमा का रुख किया।
रवींद्र कपूर ने 1960 के दशक में पंजाबी फिल्मों में काम करना शुरू किया और फिल्म ‘चंबा दी कली’ से अपनी एक अलग पहचान बनाई। इसके बाद उन्होंने पंजाबी सिनेमा में कई हिट फिल्में दीं। लेकिन हिंदी सिनेमा में उन्हें हमेशा साइड रोल तक ही सीमित रहना पड़ा।
करियर सहायक भूमिकाओं तक सीमित
रवींद्र कपूर ने ‘कयामत से कयामत तक’, ‘हम किसी से कम नहीं’, ‘जो जीता वही सिकंदर’, ‘द बर्निंग ट्रेन’, ‘मंजिल मंजिल’ और ‘हम हैं लाजवाब’ जैसी बॉलीवुड फिल्मों में काम किया। लेकिन उन्हें इन फिल्मों में कभी मुख्य भूमिका निभाने का मौका नहीं मिला। वे कभी सिख यात्री की भूमिका में दिखे, तो कभी टैक्सी ड्राइवर की भूमिका में।
उनकी सबसे यादगार भूमिका फिल्म ‘कारवां’ में थी, जिसमें उन्होंने जीतेंद्र के दोस्त की भूमिका निभाई थी। हालांकि, यह फिल्म भी उन्हें बड़ी पहचान दिलाने में नाकाम रही।
RK फिल्म्स का हिस्सा न होना
रवींद्र कपूर के बारे में एक और खास बात यह है कि वे कपूर परिवार के एकमात्र सदस्य थे, जिन्होंने कभी राज कपूर के प्रोडक्शन हाउस RK फिल्म्स (Ravindra Kapoor vs RK Films) के लिए काम नहीं किया। जबकि उनके सगे भाई कमल कपूर ने राज कपूर की फिल्म ‘आग’ में काम किया था।
2011 में गुमनाम जिंदगी और मौत
रवींद्र कपूर को न सिर्फ फिल्मी दुनिया (Ravindra Kapoor film career) में सफलता नहीं मिली, बल्कि उन्हें कपूर खानदान में भी वो पहचान नहीं मिली जो उनके परिवार के बाकी सदस्यों को मिली। वो परिवार के सबसे गुमनाम सदस्य रहे।
उन्होंने आखिरी बार फिल्म ‘बेनाम बादशाह’ में काम किया था। 2011 में 70 साल की उम्र में उनका निधन हो गया। उनकी मौत के बाद उनका जीवन और करियर एक रहस्य बनकर रह गया।
रवींद्र कपूर: गुमनामी में खोया सितारा
रवींद्र कपूर की कहानी बॉलीवुड में संघर्ष, असफलता और गुमनामी का प्रतीक है। उन्होंने दशकों तक फिल्म इंडस्ट्री में काम किया, लेकिन वो मुकाम कभी हासिल नहीं कर पाए जो उनके परिवार के बाकी सदस्यों को मिला।
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