जूनियर महमूद यानी नईम सैय्यद जिनकी एक्टिंग और अंदाज आज भी दर्शकों को खूब पसंद आती है लेकिन अपने एक्टिंग के जरिए दर्शकों को खूब हंसाने वाले जूनियर महमूद कई समय से कैंसर के दर्द से जूझ रहे थे और 67 साल की उम्र में उनका निधन हो गया है. जानकारी के अनुसार, जूनियर महमूद की तबियत दो महीने से खराब थी. उन्हें कैंसर जैसी घातक बीमारी हुई थी जिसका इलाज अस्पताल में चल रहा है. महमूद के लंग्स और लीवर में कैंसर था साथ ही आंत में ट्यूमर भी था. जूनियर महमूद पेट के स्टेज 4 कैंसर से जूझ रहे थे और इसी बीमारी की वजह से सीनियर कलाकार की का निधन हो गया और इस बीमारी के दौरान उनका कई किलों वजन कम हो गया था. वहीं हाल ही जब जॉनी लीवर उनसे मिलने पहुंचे तब इंडस्ट्री के बाकि लोगों को पता चला कि सीनियर कलाकार की हालत नाजुक बनी हुई है. वहीं इसके बाद मास्टर राजू, जितेंद्र, सचिन पिलगाउंकर आदि उनसे मिलने पहुंचे.
Also Read- फिल्म एनिमल ने इंटरनेशनल बॉक्स ऑफिस पर बनाया रिकॉर्ड, नंबर 1 पोजीशन की हासिल.
इस तरह शुरू हुआ था एक्टिंग का करिअर
जूनियर महमूद का जन्म मुंबई में 15 नवम्बर 1956 को हुआ था. नईम के बड़े भाई फिल्म सेट पर फोटोग्राफी का काम करते थे. ऐसे में नईम भी सेट पर उनके साथ जाते रहते थे और 9 साल की उम्र उनका एक्टिंग का करिअर शुरू हुआ.
जूनियर महमूद का एक्टिंग का करिअर तब शरू हुआ जब वे अपने भाई के साथ एक फिल्म के सेट पर थे तो वहां एक चाइल्ड एक्टर पर सीन शूट किया जा रहा था. वह बच्चा बार बार रीटेक कर रहा था. ऐसे में वहां खड़े महमूद ने कहा कि इतना सा डायालॉग नहीं बोल पा रहा. यह सुनकर निर्देशक ने कहा कि अगर तुम बोल सकते हो तो मैं तुम्हें मौका दूंगा. बस, यहीं से जूनियर महमूद का फिल्मी सफर शुरू हुआ.
जूनियर महमूद ने 7 भाषाओं में 265 से भी ज्यादा फिल्मों में काम किया है. साथ ही कई मराठी फिल्में भी निर्देशित की हैं. ‘ब्रह्मचारी’, ‘दो रास्ते’, ‘आन मिलो सजना’, ‘हाथी मेरे साथी’, ‘कटी पतंग’, ‘हरे राम हरे कृष्णा’, ‘जौहर महमूद इन हॉन्ग कॉन्ग’, ‘बॉम्बे टू गोवा’, ‘गुरु और चेला’ जैसी कई सारी फिल्मों में काम किया है. वहीं उनके जूनियर महमूद नाम कि भी बड़ी रोचक कहानी है.
इस तरह मिला जूनियर महमूद का टाइटल
साल 1969 में आई फिल्म ‘सुहाग रात’ में पहली दफा नईम को महमूद के साथ काम करने का मौका मिला था. इसके बाद महमूद उन्हें अच्छे से पहचानने लगे थे. एक बार महमूद ने अपनी बेटी की बर्थडे पार्टी पर नईम को भी बुलाया. वहां नईम ने महमूद के फेमस गाने ‘हम काले हैं तो क्या हुआ दिलवाले हैं…’ पर दिल खोलकर डांस किया. उन्होंने महमूद जैसे ही हाव भाव दिखाए और वहां मौजूद सभी मेहमानों को खूब हंसाया. नईम का यह टैलेंट देखकर महमूद काफी प्रभावित हुए और उन्हें ‘जूनियर महमूद’ का टाइटल दे दिया.
Also Read- बॉलीवुड बच्चन परिवार के ये दो शख्स बने रानी मुखर्जी और ऐश्वर्या राय की दुश्मनी की वजह.