देश में महिलाओं और बच्चियों के खिलाफ होने वाले अपराधों में कमी आने का नाम नहीं ले रही। आए दिन कहीं ना कहीं से किडनैपिंग, बलात्कार के मामले सामने आते ही रहते हैं, जो झकझोर देने वाले होते हैं। सबसे ज्यादा परेशान करने वाली बात ये भी होती है कि पुलिस भी इस तरह के मामलों को गंभीरता से नहीं लेती और कोई सख्त कार्रवाई नहीं करती, जिसकी वजह से अपराध बढ़ते चले जाते हैं।
एक मामला इंदिरापुरम के काला पत्थर रोड़ से सामने आया है, जहां एक शख्स सरेआम किडनैप करके बच्चियों को अपने साथ लेकर जाने के इरादे में था। लेकिन जब बच्चियों ने शोर मचाया, तो लोगों की भीड़ वहां आकर इकट्ठा हो गई और वो शख्स भीड़ के हत्थे चढ़ गया। भीड़ ने उसको मार पीटकर पुलिस के हवाले कर दिया। बच्ची के परिजनों का आरोप है कि पुलिस इस मामले में ठीक से कार्रवाई नहीं कर रही। पुलिस ने उस शख्स पर एक्शन लेने की जगह उसे छोड़ दिया।
बच्चियां एक गरीब परिवार से हैं। उनके पिता राजीव गुप्ता माली का काम करते हैं। वो अपने परिवार के साथ झुग्गी में रहते हैं। इनमें से एक का नाम बेबी गुप्ता (8 साल) और दूसरा का नाम रोशनी (10 साल) बताया जा रहा है।
हुआ कुछ यूं कि दोनों बहनें मंदिर गई थीं। तब वहां पर ये शख्स भी था। वो वहां पर लोगों को दूध-ब्रेड बांट रहा था। इस दौरान वो दोनों बहनों के पास आया और छोटी वाली बच्ची को देखकर कहने लगा- ‘ये लड़की बहुत सुंदर हैं, मैं इसे लेकर जाना चाहता हूं।’ बच्चियों के मुताबिक वो शख्स शराब के नशे में था।
फिर छोटी बच्ची (बेबी गुप्ता) घर आ गई और रोशनी वहीं पर थीं। तो वो व्यक्ति उससे पूछने लगा कि ‘तेरी बहन कहां पर है?’ इसके बाद वो उसको घर लेकर जाने के लिए कहने लगा। यही नहीं शख्स ने ये भी कहा कि ‘अगर तेरी बहन ना मिली, तो तुझे उठाकर ले जाऊंगा।’
इसके बाद वो जोर जबरदस्ती करके बच्चियों को अपने साथ लेकर जाने की कोशिश करने लगा। इस दौरान बच्ची ने चिल्लाना शुरू कर दिया, जिसके बाद पब्लिक वहां आकर इकट्ठा हो गई। भीड़ ने उस शख्स को मारा पीटा और फिर पुलिस को बुला लिया। पुलिस वहां आई और शख्स को अपने साथ लेकर चली गई।
लेकिन इस मामले में जो पुलिस की कार्रवाई है, उस पर सवालिया निशान खड़े हो रहे है। दरअसल, बच्चियों के पिता के मुताबिक पुलिस मामले में अब कोई भी जानकारी उनको नहीं दे रहे। पिता राजीव गुप्ता के मुताबिक पुलिस ने इस केस में शिकायत दर्ज की और बच्चियों से पूछताछ की। इसके बाद उन्हें बाद में आने को कहा था, लेकिन जो वापस थाने गए तो वो व्यक्ति वहां पर नहीं था। पुलिस ने उसे छोड़ दिया और पूछे जाने पर भी उन्हें इससे जुड़ी कोई जानकारी नहीं दे रही। बच्ची के परिजनों का कहना है कि अगर भीड़ नहीं होती, तो वो व्यक्ति उनकी बच्ची को उठाकर ले जाते। परिजनों की मांग है कि पुलिस इस मामले में उचित कार्रवाई करें।